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योग मानवता के लिए भारत का आध्यात्मिक उपहार है – राठिया*



सारंगढ़ । जिला कलेक्टर डॉ संजय कन्नौजे के मार्गदर्शन पर कृषि उपज मंडी परिसर पर सांसद राधेश्याम राठिया के मुख्य आतिथ्य पर एवं विशिष्ट अतिथि के रूप में आमंत्रित विधायक उत्तरी गनपत जांगड़े, विधायक कविता प्राण लहरे, जिपं अध्यक्ष संजय भूषण पांडे के द्वारा करो योग रहो निरोग के तर्ज पर मंडी परिसर में योग किया गया। इस दौरान जिला भाजपा अध्यक्ष ज्योति पटेल पूर्व जिपं अध्यक्ष अजेश अग्रवाल , जिला कलेक्टर डॉ संजय कनौजे , एसपी आंजनेय वैष्णव , जिपं सीईओ इंद्रजीत बर्मन, जिला स्वास्थ्य अधिकारी एफ आर निराला ,समाज कल्याण अधिकारी विनय तिवारी , जिला खाद्य अधिकारी चितरंजन सिंह, जिला खनिज अधिकारी बजरंग पैंकरा , अनुराग नंद , सीएमओ राजेश पांडे, सीईओ राधेश्याम नायक के साथ ही साथ सैकड़ो अधिकारी और कर्मचारियों की उपस्थिति में नगर के गणमान्य नागरिकों के द्वारा योग दिवस पर योग किया गया । योग शिक्षक के रूप में शिक्षिका ममता साहू के द्वारा सभी को योग करवाया गया । योगस्थल मंडी परिसर में लगभग हजारों के अनुपात में लोग योग कर रहे थे । योग के दौरान योग टी – शर्ट पहनकर योग किया जा रहा था । भीगी हुई मूंग चना और चाय की भी व्यवस्था जिला प्रशासन की ओर से की गई थी ।

मुख्य अतिथि सांसद राठिया ने कहा कि – योग जो वैदिक ऋचाओं और पतंजलि के सूत्रों में अंकित एक साधना रहा है । आज विश्व भर में मानवता को आध्यात्मिक और शारीरिक उन्नति का पर्याय बन चुका है । 2014 भारत के लिए एक निर्णायक मोड़ साबित हुआ जब संयुक्त राष्ट्र महासभा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आह्वान पर 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस घोषित किया । यह न केवल एक कूटनीति के सफलता थी बल्कि सांस्कृतिक पुनरुत्थान का भी उदघोष था। आज भारत से लेकर ब्राजील , जापान, ऑस्ट्रेलिया तक योग के प्रति जो उत्साह दिखाई देता है वह इस बात का प्रमाण है कि – यह केवल एक स्वास्थ्य पद्धति नहीं, बल्कि मानवता के लिए भारत का आध्यात्मिक उपहार है। जिपं अध्यक्ष संजय पांडे ने कहा कि – 2014 के बाद भारत सरकार विशेष कर आयुष मंत्रालय ने जो कदम उठाए उन्होंने योग को न केवल वैश्विक मंच पर स्थापित किया , बल्कि उसे भारत के गांव-गांव तक भी पहुंचा ।आयुष मंत्रालय की स्थापना स्वयं एक सांकेतिक क्रांति थी । जिसने आयुर्वेद, योग, यूनानी सिद्ध और होम्योपैथी को संगठित रूप से नीतियों के केंद्र में ला दिया । योग के जरिए ही स्वस्थ जीवन की कल्पना की जा सकती है इससे स्वस्थ शरीर व स्वस्थ मन की प्राप्ति होती है ।

कृषि उपज मंडी परिसर पर आयोजित अंतरराष्ट्रीय योग दिवस कार्यक्रम के संचालक और व्यवस्थापक जिला कलेक्टर डॉ संजय कन्नौजे ने कहा कि – योग किसी धर्म से बंधा नहीं है । योग ग्रंथों के बंधन से मुक्त है । योग का अर्थ ही है जोड़ना । योग सबको बांधे रखता है। योग कोई व्रत नहीं है , ना कोई प्रार्थना है । योग जीवन शैली है । जब मन भटके , तन थके और आत्मा में ठहराव न हो तब योग ही कहता है कि – खुद के भीतर झांको ।तुम्हारा शरीर ही असली मंदिर है । यही तीर्थ है । योग को अपनाकर इंसान धर्म के साथ खुद से जुड़ता है । योग को मजहब से जोड़ना ठीक नहीं है। योग जीवन जीने की कला है । यह जिंदगी को खूबसूरत बनाता है । यह सब का है सबको योग से जुड़ना चाहिए । योग है तो जीवन है और अब योग ही जीवन का आधार है ।

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